कमलनाथ सरकार ने उठाया बड़ा कदम- प्याज की कीमतों पर लगेगी लगाम

हर दिन प्याज की बढ़ती कीमतों को लेकर कमलनाथ सरकार ने बड़ा फैसला किया है, जिसके तहत सरकार प्याज भंडारण की सीमा तय करने वाली है।अब थोक व्यापारी 500 और फुटकर विक्रेता 100 क्विंटल से ज्यादा प्याज का भंडारण नहीं कर सकेंगे।इसके बाद प्याज के दामो में कमी होने के आसार है, वही किसानों को भी राहत मिलेगी। इधर, केंद्र सरकार ने प्याज के भाव में तेजी को देखते हुए निर्यात पर रोक लगा दी है।

दरअसल, एमपी समेत अन्य राज्यों में प्याज की बढ़ती कीमतों ने लोगों के आंखों में आंसू ला दिए है।लगातार हो रही बारिश के चलते प्याज के दामों में बीते दो हफ्तों में तेजी से उछाल आया है। दो से दस रुपए किलो तक बिकने वाली प्याज अब 40 से 60 रुपए तक बिक रही है।बताया जा रहा है कि दूसरों राज्यों से कम आवक के कारण प्याज के दामों में तेजी आई है। इसी के चलते अब सरकार सजग हो गई है और लगाम लगाने भंडारण की सीमा तय करने जा रही है।इसके लिए मसौदा खाद्य, नागरिक आपूर्ति विभाग ने तैयार कर लिया है। इसके तहत थोक व्यापारी 500 और फुटकर विक्रेता 100 क्विंटल से ज्यादा प्याज का भंडारण नहीं कर सकेंगे।बताया जा रहा है कि खाद्य, नागरिक आपूर्ति विभाग एक सप्ताह के भीतर इसके आदेश जारी कर देगा।

फिलहाल प्रदेश में किसानों के पास प्याज़ का भंडार नहीं है। स्टॉकिस्टों के पास जो प्याज रखी है, उसे भी ऊंचे दामों पर खरीदना पड़ रहा है।दूसरे राज्यों से प्याज की आवक फिलहाल बंद है, जिससे लगातार प्याज मंहगी होती जा रही है, ऐसे में कीमतें गिरने की कोई उम्मीद नहीं है।

कारोबारियों और बड़े व्यापारियों की माने तो बारिश के चलते कर्नाटक, महाराष्ट्र और मध्य प्रदेश से आवक नहीं हो रही और त्याेहारी सीजन को देखते हुए मांग में तेजी है। अगर ऐसा ही चलता रहा तो दीपावली तक थोक भाव और बढ़ जाएगा।दीपावली तक प्याज का थोक भाव 60 से 70 रुपए किलो तक पहुंच सकता है। उपभोक्ताओं को 80 या इससे महंगी भी मिल सकती है।

प्‍याज की बढ़ती कीमतों के बीच केंद्र सरकार ने प्याज व्यापारियों को बाजार में स्टॉक को जारी करने और व्यापारियों द्वारा जमाखोरी को रोकने की सुविधा के लिए स्टॉक सीमा लागू कर दी थी। खुदरा व्यापारियों पर 100 क्विंटल और थोक व्यापारियों पर 500 क्विंटल की स्टॉक सीमा पूरे देश में लगाई गई है।