जून महीने में हरियाणा के बल्लभगढ़ में ट्रेन में सीट को लेकर हुए विवाद के बाद पीट-पीटकर मारे गए युवक जुनैद के मामले में हरियाणा सरकार के वकील ने पंजाब और हरियाणा हाईकोर्ट में जुनैद के परिजनों की ओर से समझौता करने के लिए पैसे और ज़मीन की मांग करने का आरोप लगाया है.
इंडियन एक्सप्रेस की खबर के मुताबिक गुरुवार को हरियाणा सरकार ने हाईकोर्ट में कहा है कि जुनैद का परिवार आरोपी पक्ष से समझौता करने के लिए 2 करोड़ रुपये और 3 एकड़ जमीन की मांग कर रहा है. वहीं अख़बार द्वारा बात करने पर जुनैद के परिवार ने इस दावे को खारिज करते हुए सरकार पर आरोप लगाया है कि सरकार झूठी अफवाह फैलाकर उन पर दबाव बनाने की कोशिश कर रही है.
सरकार की तरफ से पेश हो रहे एडिशनल एडवोकेट जनरल दीपक सभरवाल द्वारा समझौते वाली बात पर जुनैद परिवार के वकील आरएस चीमा ने भी अदालत में आपत्ति जताते हुए कहा, ‘ये बदनाम करने वाले आरोप हैं. मैं इस मामले को सनसनीखेज नहीं बनाना चाहता हूं… किसी व्यक्ति ने अपना बेटा खोया है. इस तरह के बयान उनकी पीड़ा को बदनाम करने जैसा है.’ चीमा ने यह भी बताया कि गांव की कुछ ‘अवैध पंचायतें’ परिवार को अदालत में अपना स्टैंड बदलने के लिए मजबूर कर रही हैं.
सभरवाल ने आगे कहा कि उन्होंने इस संबंध में एक पुलिस अधीक्षक (डीएसपी) से मौखिक निर्देश प्राप्त हुआ था कि परिवार मुकदमे में अदालत की कार्यवाही में देर करना चाहता है और समझौता करने के लिए पैसे लेना चाहता है.
वहीं इंडियन एक्सप्रेस द्वारा फोन करने पर जुनैद के परिवार के एक सदस्य ने नाम न छापने की शर्त पर बात की और सरकार के वकील द्वारा किए गए इन दावों को सिरे से ख़ारिज कर दिया. उन्होंने कहा कि मामला कोर्ट में है और उसका जो फैसला होगा, वे मानेंगे.
वहीं अमर उजाला के अनुसार, उनसे बात करते हुए जुनैद के पिता ने कहा कि उन्हें कोई दो करोड़ तो क्या 100 करोड़ रुपये भी दे तो वे समझौता नहीं करेंगे. उन्होंने पुलिस सुरक्षा लौटाने की बात पर कहा कि उन्होंने तीन माह पहले पुलिस सुरक्षा की मांग की थी, मगर उन्हें सुरक्षा उपलब्ध नहीं करवाई गई. बुधवार को दो पुलिसकर्मी उनके पास पहुंचे हैं, जो अब उनके पास हैं. जस्टिस राजन गुप्ता की पीठ ने मामले की अगली सुनवाई सात नवंबर को तय की है.